Posted By : Posted By Mangal Senacha on 27 Nov 2010, 10:40:15
जोधपुर। मारवाड़-जोधपुर के पूर्व महाराजा गजसिंह के पुत्र युवराज शिविराजसिंह के विवाह के उपलक्ष्य में मंदिर, मस्जिद, संत-महात्माओं, पूजनीक स्थलों, मठों समेत मारवाड़ के विभिन्न धार्मिक स्थलों पर भेंट दस्तूर भिजवाए गए। युवराज शिवराजसिंह का विवाह 18 नवम्बर को उत्तराखंड के अस्कोट राजघराने की राजकुमारी गायत्री के साथ जयपुर के रामबाग पैलेस में संपन्न हुआ था। मेहरानगढ़ म्यूजियम ट्रस्ट के निदेशक (संस्कृति) डॉ.कुं.महेन्द्रसिंह नगर ने बताया कि मारवाड़ में परम्परा से राजपरिवार में आयोजित होने वाले शुभ अवसरों पर संत-महात्माओं, पूजनीक र्धम गुरूओं, मंदिर-मस्जिद व अन्य धार्मिक स्थलों पर आयोजनों के उपलक्ष्य में दस्तूर भिजवाए जाते हैं। इसी परम्परा का निर्वहन करते हुए युवराज के विवाह के उपलक्ष्य में शॉल, श्रीफल, गुड़, प्रसाद, भेंट, मंदिर भेंट, ध्वजा तथा मस्जिद व दरगाह में रोशनाई के लिए भेंट, चादर, साफा व कबूतरों के लिए ज्वार आदि भेजे गए। नगर ने बताया कि जोधपुर में जुगल जोड़ी मंदिर राइकाबाग, बड़ा रामद्वारा, छोटा रामद्वारा, अचलनाथ मंदिर, चौपासनी कुंज बिहारी मंदिरी, शिकारपुरा संत, महामंदिर नवलेश्वर मठ, गोस्वामी बालकिशनजी मंदिर, गोस्वामी मदन मोहन मंदिर, अमरदासजी की गदी फतेहसागर, बाईजी का तालाब कबीर पंथी आश्रम, चतुर्भज मंदिर पुंगलपाड़ा, नवल मठ बाईजी का तालाब, उदयमंदिर अनंतराम की बगेची, भूरे खां की दरगाह, बाईजी महाराज का आश्रम, रामेश्वर मंदिर, रामद्वारा गुलाबसागर, तन्हापीर की दरगाह, एकमीनार मस्जिद में भेंट दस्तूर भेजे गए। इसी तरह बाड़मेर क्षेत्र में ब्रह्मधाम आसोतरा, संत अभयरामजी महाराज सिवाणा, बालासती धाम, महामण्डलेश्वर महेशानंदगिरीजी महाराज जाडन, देवरिया हिंगलाजी का थान, पायला महंतजी, आसमजी का स्थान, आलमजी रौ झूपड़ौ सड़ली का मठ, सिणधरी महादेव का स्थान, मठ पूना, सेवाड़िया मठ, मठ लेटा भैंसवाड़ा, मोडवला मठ, मीठा मठ, मालानी का मठ, खरटीया मठ, कानाना मठ, समदड़ी मठ, सिवाना बगीची, मठ माण्डलवा, भारणी मठ बाड़मेर, तरातरा मठ, लीलसर मठ, डूंगरपुरीजी का स्थान चौहटन में भेंट दस्तूर भेजे गए।
इसके अलावा नागौर में पांचला सिद्धा खींवसर, पाटवी सज्जादानशीन बड़ा पीर साहेब की दरगाह, तारकीन साहेब की दरगाह, बंशीवाला मंदिर, खेड़ापा, रामधाम रेण, रामधाम मेड़तासिटी, गोमंदरामजी का रामद्वारा सिणोद, रामद्वारा डेह, किसनदासजी का रामद्वारा टांकला, रामद्वारा चाडी, कुचेरा, सांजू, डीडवाना, मूंडवा, कोळू पाबूजी, झरड़ाजी री पाल, शांतिनाथ महाराज जालोर, बुटाटी धाम, गंगादास महाराज दादू द्वारा नागौर, किले में गणेश मंदिर नागौर, जोगमाया मंदिर, कृष्ण व भैरव मंदिर में भी भेंट, चादर दस्तूर भेजे गए।
साभार- दैनिक नवज्योति