सीरवी समाज - मुख्य समाचार

Posted By : साभार - दैनिक भास्कर, राजस्थान पत्रिका


जोधपुर. प्रदेश में मंगलवार को शुरू हुआ मावट का दौर कई इलाकों में बुधवार को भी जारी रहा। जोधपुर वराजसमंद में एक घंटे तक तेज बारिश हुई। वहीं कई इलाकों में दिनभर बूंदाबांदी होती रही। बारिश से छाए कोहरे के कारण जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया। मावट से अचानक बढ़ सर्दी ने लोगों को गर्म कपड़े निकालने पर मजबूर कर दिया। जोधपुर में शाम साढ़े छह बजे से करीब एक घंटे तक हुई बारिश हुई। इससे सर्दी बढ़ गई। बरसात से सड़कों पर पानी भर गया। पाली, सिरोही, सादड़ी, माउंटआबू और आबूरोड सहित आसपास के कुछ स्थानों पर भी लगातार दूसरे दिन कहीं तेज तो कहीं हल्की बारिश हुई।
राजसमंद में सुबह हल्की फुहार रही और शाम को तेज बारिश से सड़कों पर पानी भर गया। बांसवाड़ा व डूंगरपुर में भी रिमझिम से मौसम सुहाना हो गया। उदयपुर जिले के घासा में 20 मिनट तक तेज बारिश हुई। कोटा में मावट से कोहरा छा गया। कई स्थानों पर ट्रेनों के सिग्नल कोहरे में छिप गए। दिल्ली-मुंबई मार्ग पर ट्रेनों का संचालन प्रभावित रहा। ट्रेनें एक से दो घंटे की देरी से चली। राजधानी में आकाश साफ रहा। दिन के तापमान में 1.7 डिग्री की बढ़ोतरी हुई। पाली व सिरोही में बूंदाबांदी का दौर चला। अजमेर में दूसरे दिन मावट का दौर जारी रहा। सीकर कोहरे का असर रहा।
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शीतलहर से ठिठुरे लोग
सोजत। नगर में आज सवेरे से ही शीत लहर के कारण मौसम के मिजाज में परिर्वतन आ गया एवं बारिश की फुहारों के साथ मावठ ने क्षेत्र क्षेत्रवासियों को सर्दी से ठिठुरा दिया। लोगों ने शीत लहर के चलते ऊनी टोप, स्वेटर, कम्बल रजाइयां इत्यादि बाहर निकाल ली। वहीं शाम के समय लोग अलाव तापते नजर आए तथा दिन भर नमकीन एवं दाल के बड़ों के खोमचों पर लोगों की भारी भीड़ दिखाई दी। जहां मेहन्दी काश्तकारों के फुहारों से नुकसान हुआ वही अन्य काश्तकारों ने मावठ की इस बारीश का स्वागत करते हुए इसे गेहूं की फसल के लिए शुभ संकेत माना।
रानी।रानी नगर में मंगलवार को बेमौसम बूंदाबादी के बाद अचानक ठिठुरन बढ़नी शुरू हो गई। कई दिनों से सर्दी ने धीरे-धीरे अपना रंग बताना शुरू कर दिया है लेकिन मंगलवार को अचानक हुई बूंदाबादी से मौसम को मिजाज बदल गया। इससे पूरे दिन आसमान में बादल छाये रहे।
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फसलों को नुकसान होने की आशंका
जैतारण। नगर सहित ग्रामीण क्षेत्रों में मंगलवार को मौसमी तंत्र में अचानक आये बदलाव व सुबह से बादल छाने के साथ दिनभर रिमझिम रिमझिम बरसात होने से खेतों में पड़ी विभिन्न फसलों को नुकसान होने का अंदेशा है। दिनभर तेज हवाओं के साथ बूदाबांदी होने के कारण यहां दिनभर लोग अपने घरों में ही दुबके रहे, तो खेतों में गये किसान बरसात के चलते अपनी फसलों को बरसाती पानी से बचाने का उपाय करते रहे।
जैतारण शहर में मंगलवार को सूर्योदय के साथ ही आसमान में बादलों की आवाजावी बननी शुरू हो गई थी। प्रात: 11 बजे के करीब मौसम ने अचानक पलटा खाते हुए पहले तेज हवाएं चलनी शुरू हो गई बाद में देखते ही देखते मास सावन की रिमझिम रिमझिम फुव्वारें चलने लगी। अचानक बरसात का माहौल बनने से खेतों में खुले आसमान तले पड़ी किसानों की मूंग, बाजरे, ग्वार, ज्वार इत्यादि फसलों को इससे नुकसान हुआ है। कुछेक स्थानों पर पुन: अंकुरित मेहंदी की फसलों की पिछले दिनों कटाई कर रहे किसानों पर भी इस बेमौसमी बरसात का कहर सहना पड़ा। सर्दी के अहसास से बचने के लिए अब गर्म वस्त्रों को बाहर निकालने लगे हैं। सायं को समाचार लिखे जाने तक रिमझिम रिमझिम बरसात का का दौर जारी था तथा आसमान में बिजलियां चमक रही थी।
--(uploaded by Mangal Senacha,Bangalore, on 11 Nov. 2010 at 10.20AM )