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Posted By : Posted By Mangal Senacha on 12 Oct 2011, 08:55:54

श्रद्धा-धन दोगुना : पूजा-खरीदारी के दो मौके, दोनों ही दिन श्रेष्ठ, यह संयोग वर्ष 2002 में बना था। फिर दस साल बाद 2021 में बनेगा
जोधपुर, इस बार दीपावली से पहले खूब खरीदारी होगी। 20 अक्टूबर को गुरु पुष्य के योग के बाद खरीदारी का महापर्व धनतेरस दो दिन तक चलेगा। इन तीन दिनों में खरीदारी के खूब मुहूर्त रहेंगे तथा बाजारों में भी इसकी तैयारियां शुरू हो गई हैं। नौ साल बाद ऐसा संयोग बना है जब दो धनतेरस व गुरु पुष्य एक साथ आए हैं। ऐसा दुर्लभ योग अब 2021 में आएगा।
इस बार 24 अक्टूबर व 25 अक्टूबर को दो दिन तक धनतेरस मनाई जाएगी। दीपावली के पहले त्रयोदशी को दीपदान करने और आयुर्वेद के जनक धन्वंतरि की जयंती मनाने की परंपरा है। ज्योतिषविदों के अनुसार इस बार ग्रह नक्षत्रों की चाल कुछ इस प्रकार है कि 24 अक्टूबर को धनतेरस के निमित्त दीपदान होगा, जबकि 25 अक्टूबर को धन्वंतरि त्रयोदशी व रूप चतुर्दशी एक साथ मनाई जाएगी। दोनों ही दिन खरीदारी के लिहाज से बेहतर साबित होंगे।
यह संयोग इसलिए
पं. रमेश भोजराज द्विवेदी के अनुसार 24 अक्टूबर को त्रयोदशी दोपहर 12.33 बजे से प्रारंभ होकर अगले दिन 9.03 बजे तक रहेगी। दीपदान शाम को त्रयोदशी व प्रदोष काल में किया जाता है और धन्वंतरि जयंती उदियात तिथि में त्रयोदशी होने पर मनाई जाती है। इसलिए 24 अक्टूबर की शाम को त्रयोदशी होने पर दीपदान किया जा सकेगा, जबकि 25 अक्टूबर को सूर्योदय के समय त्रयोदशी होने के कारण इस दिन धनतेरस मनाई जाएगी। द्विवेदी ने बताया कि 25 अक्टूबर को शाम को चतुर्दशी तिथि होने के कारण इसी दिन रूप चतुर्दशी मनाई जाएगी।
इसलिए रहेगा यह श्रेष्ठ
द्विवेदी ने बताया कि 24 अक्टूबर को सूर्य शाम 4.41 बजे स्वाति नक्षत्र में आ जाएगा। इस दिन उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र भी रहेगा। उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र 25 अक्टूबर को तड़के 3.43 बजे तक रहेगा। इसके बाद हस्त आ जाएगा। शास्त्रों के अनुसार उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र में अबूझ मुहूर्त, मांगलिक कार्य खरीदारी करना सर्वश्रेष्ठ माना गया है। वहीं हस्त नक्षत्र में भी खरीदारी शुभ रहेगी।
साभार - दैनिक भास्कर