
जिले की सांस्कृतिक पहचान को सामने लाने का प्रयास
कार्तिक पूनम की चांदनी में बिखरेंगी सुर लहरियां, नाचेगा मन मयूर, मारवाड़-गोड़वाड़ की धरा, जीवन शैली व संस्कृति से रूबरू होंगे पर्यटक
भास्कर न्यूज, सादड़ी/पाली
मारवाड़ गोडवाड़ के लिए आगामी कार्तिक पूर्णमासी खास होगा। पूनम की स्वप्निल चांदनी में सुर लहरियां बिखरने को बेताब रहेंगी, तो प्रसिद्ध कलाकारों की थिरकन में मन मयूर थिरकने को मजबूर होगा। देशी-विदेशी पर्यटकों को पहली बार गोडवाड़-मारवाड़ की मेजबानी, धरा, जीवन शैली एवं संस्कृति से रूबरू होने का मौका मिलेगा। इसके साथ लगातार तीन दिनों की सांस्कृतिक यात्रा की शुरुआत होने जा रही है।
महत्वाकांक्षी प्रयास ‘रणकपुर महोत्सव’ : प्रशासन एवं पर्यटन विभाग का यह पाली जिले में यह पहली बार महत्वाकांक्षी प्रयास है। जिले के सांस्कृतिक धरोहरों की हृदय स्थली रणकपुर में 10 से 13 नवंबर तक रणकपुर महोत्सव आयोजित करने का निर्णय लिया जा चुका है। अपने इस महत्वाकांक्षी योजना की तैयारी में अधिकारी जुट गए हैं, ताकि पहली बार आयोजित इस महोत्सव को यादगार बनाया जा सके।
आयोजनों की रहेगी धूम : महोत्सव के दौरान आयोजनों की धूम रहेगी, जिसमें एक से बढ़कर एक कलाकार की प्रतिभा का यहां बैठे-बैठे लोग दीदार कर सकेंगे। इस अवसर पर सायंकाल भक्ति संगीत संध्या, शास्त्रीय नृत्य, सूफी गायन, शास्त्रीय संगीत व नृत्य नाटिका का आयोजन सूर्य मंदिर पर होगा, तो प्रतिदिन दोपहर 2 बजे से रात्रि 9 बजे तक क्राफ्ट एवं फूड बाजार लगाया जाएगा, जिसमें 15 से 20 क्राफ्ट स्टॉल लगाई जाएगी।
निकट से प्रकृति को देखने का मिलेगा अवसर : सांस्कृतिक गतिविधियां की नहीं बल्कि पर्यटकों को इस अवसर पर प्रकृति को निकट से देखने का भी अवसर मिलेगा। प्रतिदिन पर्यटकों के लिए निशुल्क पैकेज टूट आसपास के पर्यटन स्थलों पर जिसमें परसराम महादेव, नरवाणिया झील, वन्यजीव अभयारण्य का भ्रमण कराया जाएगा। पर्यटकों के लिए प्रतिदिन निशुल्क जीप एवं हॉर्स सफारी तथा गाइडेड टूर होगा। शनिवार,रविवार को कुंभलगढ़ निशुल्क टूर कराया जाएगा।
झांकेगी स्थानीय संस्कृति : जिला प्रशासन एवं रोडवेज के सहयोग से पाली व सादड़ी के लिए पर्यटकों के लिए निशुल्क बस सेवा उपलब्ध रहेगी।
शिल्पी होटल के पीछे, सूर्य मंदिर नरवाणिया झील के पास क्राफ्ट बाजार लगाया जाएगा, जो स्थानीय संस्कृति के अनुरूप घास फूस की ग्रामीण परिवेश को दर्शाते हुए दुकानें बनाई जाएंगी। समारोह का प्रचार प्रसार के लिए राष्ट्रीय, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रचार प्रसार, मीडिया कर्मियों की यात्रा, पोस्टर, पेम्पलेट, कार्ड आदि का मुद्रण कर प्रचार-प्रसार किया जाएगा।
महत्वपूर्ण दिन
कार्तिक पूर्णिमा दिन बहुत ही शुभ माना जाता है। इसके देवताओं की दीपावली, त्रिपुरी पूर्णिमा समेत कई नाम हैं। इस दिन त्रिपुरी राक्षसों पर भगवान शिव ने जीत हासिल की थी। जैन धर्म में इस अवसर पर जैन प्रकाश त्योहार मनाया जाता है, तो सिक्खों के पहले गुरु नानक देव इसी दिन अवतीर्ण हुए थे।
धरती पर उतरते हैं देवता
कार्तिक पूर्णिमा के दिन देवता पृथ्वी पर उतर आते हैं एवं पवित्र नदियों में रहते हैं। इस वजह से गंगा एवं अन्य पवित्र नदियों में इस दिन विस्तृत समारोह होता है। भक्तों को इन नदियों में स्नान करने से नकारात्मक भाव से छुटकारा मिलने के साथ सभी देवताओं का आशीर्वाद प्राप्त होता है।
अधिकारियों की बैठक
पाली. पर्यटन विभाग द्वारा प्रथम रणकपुर महोत्सव आयोजन के संबंध में कलेक्टर नीरज के.पवन की अध्यक्षता में बैठक हुई। इसमें प्रथम रणकपुर महोत्सव 10 से 13 नवंबर को आयोजित करने का निर्णय लिया गया। कलेक्टर ने कहा कि प्रथम रणकपुर महोत्सव जिला प्रशासन एवं पर्यटन विभाग द्वारा भव्य, आकर्षक रूप से मनाया जाएगा, जिसमें मारवाड़ गोडवाड़ की धरा, संस्कृति, रहन-सहन से देशी विदेशी पर्यटकों से रूबरू कराया जाएगा। उन्होंने सभी प्रशासनिक अधिकारियों एवं पर्यटन विभाग के अधिकारियों से कहा कि वे प्रथम रणकपुर महोत्सव मनाए जाने की अभी से तैयारी शुरू कर दें ताकि इस महोत्सव की राजस्थान और देश में पहचान बने। कानून व्यवस्था एवं आवश्यक मूलभूत सुविधा के लिए उन्होंने स्थानीय प्रशासनिक अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। बैठक में एसडीएम देसूरी मोहन सिंह राजपुरोहित, पर्यटन विभाग के अधिकारी विकास पांडे, रणकपुर जैन मंदिर के मैनेजर मनोज भाई, प्रेम जी भाई, महेश शर्मा एवं संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
साभार - दैनिक भास्कर