सीरवी समाज - मुख्य समाचार
Posted By : Posted By Mangal Senacha on 29 Apr 2010, 16:34:18
जयपुर. बाल विवाह को लेकर कड़े कानूनी प्रावधान तो कर दिए गए हैं लेकिन सुदूरवर्ती इलाकों में आज भी जातीय पंचायतों के ही कानून चलते हैं। करौली जिले बाड़ा वाजिदपुर गांव के एक युवक ने गांव में बाल विवाह के खिलाफ आवाज उठाई तो जातीय पंचायत ने उस पर 51,000 रुपए का जुर्माना लगा दिया।
यही नहीं जुर्माना जमा करवाने तक उसके और उसके परिवार का अघोषित रूप से सामाजिक बहिष्कार का एलान भी कर दिया। नादौती के पास बाड़ा वाजिदपुर के रहने वाले मदन मोहन बैरवा राजस्थान विश्वविद्यालय में एलएलबी द्वितीय वर्ष का छात्र है और साथ में सामाजिक कार्यकर्ता के तौर पर भी समाज सुधार के मुद्दों पर काम करता है। गांव के एक परिवार में बाल विवाह की तैयारियां की जा रही थी तो इसका मदन मोहन ने विरोध किया और ऐसा नहीं करने पर समझाइश की। बाद में इसकी शिकायत प्रशासन से की गई।
13 अप्रैल को गांव में जाति पंचायत बुलाकर मदन मोहन पर जुर्माने और बहिष्कार का फैसला सुना दिया। अब इस पूरे मामले में जातीय पंच पटेलों ने चुप्पी साध ली है और ऐसी घटना से ही इनकार कर रहे हैं। उधर पीड़ित के गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पी.के. देब से गुहार लगाने के बाद पूरे मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं।
सामाजिक बुराइयों के खिलाफ संघर्ष जारी रखूंगा: बैरवा
बाल विवाह का विरोध करने पर पंचायत की नाराजगी झेल रहे मदन मोहन बैरवा का कहना है कि सामाजिक बुराइयों का विरोध जारी रखूंगा। इस मुद्दे पर जातीय पंचायत का मेरे साथ किए गए बर्ताव से मुझे दुख हुआ कि समाज ऐसी कुरीतियों को रोकने की बजाय इनके खिलाफ आवाज उठाने वालों को ही प्रताड़ित करने लग जाता है।
बाल विवाह का विरोध करने वाले युवक पर जातीय पंचायत के जुर्माना लगाने का मामला मेरे पास आया था। इस मामले में करौली एसपी को जांच कर कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। किसी भी पंचायत को इस तरह करने का कोई कानूनी अधिकार नहीं है। - पी.के. देब, अतिरिक्त मुख्य सचिव, गृह विभाग
मदन मोहन बैरवा पंचायत के जुर्माना लगाने और बहिष्कार करने को लेकर परिवाद दिया है। एसएचओ और एक पुलिस उपाधीक्षक को मामले की जांच सौंप दी है। जांच में किसी का दोष पाया गया तो प्रभावी कार्रवाई होगी। परिवादी से मैं खुद जयपुर आकर बयान ले रहा हूं। - महेंद्र चौधरी, एसपी, करौली
बाड़ा वाजिदपुर मेार ग्राम पंचायत का ही गांव है। जातीय पंचायत में युवक पर जुर्माने का फैसले का मामला मेरी जानकारी में नहीं है और न मैं 13 अप्रैल को उस गांव में गया। मैं जानकारी करता हूं - रमेश बैरवा, सरपंच, कैमरी